BSP ने दिल्ली के सातों सीटों पर उतारे उम्मीदवार, मायावती के इस प्लान से होगा कांग्रेस-AAP को नुकसान
News Online SM
Sachin Meena
लोकसभा की 7 सीटें हैं। इन सभी लोकसभा सीटों पर मुकाबला काफी हद तक द्विध्रुवीय माना जा रहा है। यहां पर बीजेपी और कांग्रेस-आप के प्रत्याशियों के बीच मुकाबला हो रहा है लेकिन चुनाव के तीसरे चरण के मतदान से ठीक पहले बहुजन समाज पार्टी (बसपा) ने अचानक एंट्री ले ली है।
बसपा ने हाल ही में सभी सात सीटों पर प्रत्याशियों का ऐलान किया है। आपको बता दें कि दिल्ली में करीब 20 फीसदी दलित वोटर हैं। इसके अलावा यहां पर उत्तर प्रदेश के लोग भी बड़ी संख्या में रहते हैं और जो दिल्ली के ही वोटर बन चुके हैं। ऐसे में बसपा को इस बार के लोकसभा में खोई हुई साख वापस पाने का मौका है।
दिल्ली की सभी सात लोकसभा सीटों के लिए मतदान एक ही दिन, छठे चरण में होगा। यहां 25 मई को वोटिंग होगी। आपको बता दें कि बसपा पहले भी दिल्ली में चुनाव लड़ती रही है लेकिन उसे कभी बहुत बड़ी सफलता नहीं मिल पाई।
बसपा ने सबसे पहले 1989 में दिल्ली में अपनी किस्मत आजमाई थी। इस दौरान उसने 5 सीटों पर चुनाव लड़ा था जिसमें वो मुश्किल से 3.7% वोट शेयर हासिल कर सकी। बसपा संस्थापक कांशीराम ने पूर्वी दिल्ली संसदीय क्षेत्र से चुनाव लड़ा था और उन्हें 11.2% वोट मिले थे।
हालांकि दिल्ली में बसपा ने सबसे अच्छा प्रदर्शन साल 2008 के विधानसभा चुनाव में किया था। इसमें बसपा ने 14 फीसदी वोट हासिल कर 2 सीटों पर सफलता हासिल की थी। इसके अलावा बसपा 6 सीटों पर दूसरे स्थान पर भी रही। हालांकि इसके बाद से दिल्ली में बसपा का प्रदर्शन गिरता जा रहा है।
2009 के लोकसभा चुनाव में बसपा को 9 फीसदी वोट मिले थे, 2014 में ये घटकर ये 1.2 फीसदी हो गए और 2019 में यह सिर्फ 1 फीसदी रह गया। दिल्ली बसपा के प्रदेश अध्यक्ष लक्ष्मण सिंह का दावा है कि इस बार पार्टी अच्छा प्रदर्शन करने में कामयाब होगी।
उन्होंने कहा कि कभी कांग्रेस तो कभी बीजेपी ने हमें एक दूसरे के खिलाफ इस्तेमाल करते हुए ‘बी’ टीम बता दिया, लेकिन जब आम आदमी पार्टी और कांग्रेस का गठबंधन ही हो गया तो अब सब साफ है कि कौन किसके साथ है।
लक्ष्मण सिंह ने कहा कि बसपा का वफादार वोट शेयर दलित और कुछ जगहों पर मुस्लिम को आम आदमी पार्टी ने छीन लिया था लेकिन अब उनका मोहभंग हो चुका है। बसपा के मतदाता वापस लौट रहे हैं। वो कांग्रेस और आप दोनों से नाराज हैं और उनके खिलाफ बसपा को वोट करने वाले हैं।
लक्ष्मण सिंह का दावा है कि किसी भी पार्टी ने आज तक दिल्ली लोकसभा की सातों सीटों पर एक भी मुस्लिम उम्मीदवार नहीं उतारा। लेकिन लोकसभा चुनाव 2024 में बसपा ने मुस्लिम समाज से दो टिकट दिए हैं। बसपा ने सातों सीटों पर उम्मीदवारों को उतारकर किसका खेल बिगाड़ा है यह आने वाली 4 जून को पता चल सकेगा।
BSP के प्रत्याशी
बसपा ने चांदनी चौक से अब्दुल कलाम, साउथ दिल्ली से अब्दुल बासित, पूर्वी दिल्ली से राजेंद्र पाल, उत्तर पूर्वी दिल्ली से डॉक्टर अशोक कुमार, नई दिल्ली से सत्यप्रकाश गौतम, उत्तर पश्चिमी दिल्ली से विजय बौद्ध तो पश्चिमी दिल्ली से विशाखा आनंद को उतारा है।